* सिकेन शेखर ! आईएफटीआई न्यूज़
म्यूजिक की धुन को सुनना और उस धुन में खोकर अपनी हर ख़ुशी या गम को गुनगुनाना बड़ा अच्छा लगता है ना....!! जिनकी ज़िंदगी और जिनका करियर ही इस क्षेत्र के लिए हो, तो जरा सोचिए उनका हर एक दिन कितना खूबसूरत होगा ना....!!!
भारतीय मनोरंजन और मीडिया के क्षेत्र में जिस तरह का विस्तार पिछले दशक में देखने को मिला है, इससे ये कहा जा सकता है, कि आगे आने वाले दिनों में म्यूजिक के क्षेत्र में काम करने वाले प्रोफेशनल्स की मांग बड़े पैमाने पर बढ़ रही होगी और साथ ही उन लोगों को बेहतर मौका भी मिलेगा, जो म्यूजिक के क्षेत्र में करियर बनाने के इच्छुक हैं और इस क्षेत्र सम्बंधित कौशल के साथ काम करने में सक्षम हैं।संगीत के सफर में एक वक्त ऐसा था, कि कुछ ही चुनिंदा लोग इसे करियर विकल्प के तौर पर अपनाते थे मगर जिस तरह से टेलीविज़न ने एक ऐसा विस्तार का करवट लिया कि आम लोगो के द्वारा टेलीविज़न के कार्यक्रमों में रूचि साफ़ तौर पर दिखाई दी। वक्त था टेलीविज़न पर रिएलिटी शो आने का, जिसमें देश और दुनिया ने एक अजब-सी, अनोखी-सी और अदभुत-सी संगीत में हुनर लिए उन शख्सियतों को देखा फिर हर एक उम्र के संगीत प्रेमियों ने इसमें दिलचस्पी दिखाई। साथ ही भारतीय बाजार में यह मौका मनोरंजन की दुनिया में जिस तरह का दरवाजा खोला कि आर्थिक ग्राफ बढ़ता ही चला गया। भारतीय मीडिया व मनोरंजन उधोग साल 2019 तक 13.9 प्रतिशत की सालाना चक्रवृद्धि दर (सीएजीआर) से बढ़ते हुए 1964 अरब रुपए तक पहुंच जाएगा। साथ ही फिल्म क्षेत्र 2019 तक 204 अरब रुपए का हो जाएगा। डिजिटल मीडिया की बात करें तो इस क्षेत्र में एक अदभुत विकास दिख रहा है और इस विकास की तस्वीर ने दरअसल इंटरनेट यूज़र्स की संख्या के मामले में भारत को दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा देश बना दिया है। 2019 तक 43.5 करोड़ स्मार्टफोन यूज़र्स होने की उम्मीद है जिससे मोबाइल डिजिटल मीडिया को परिभाषित करने का माध्यम बन जाएगा। अकेले म्यूज़िक के क्षेत्र में, डिजिटल चैनलों के माध्यम से आज म्यूज़िक के डिस्ट्रीब्यूशन से आय म्यूज़िक उधोग के कुल आकार का लगभग 50 से 60 प्रतिशत हो रही है। जो म्यूजिक के क्षेत्र में करियर बनाने वाले लोगों के लिए बड़ी खबर हैं।रेडियो उद्योग 2019 के अंत तक 39.5 अरब रुपए का होने की उम्मीद है। और ये तमाम ग्राफ संगीत के क्षेत्र के लिए बेहतर माने जा सकते है क्योंकि आने वाले दिनों में इन्ही रास्तों से होते हुए संगीत के सफर पुरे होने है। जाहिर सी बात है महत्व बढ़ेगा।
हालांकि टैलॅन्ट, सच्ची लगन और कठिन परिश्रम की बदौलत ही इस क्षेत्र में कामयाबी हासिल की जा सकती है। नियमित रियाज के साथ-साथ ट्रेनिंग या फिर किसी अच्छे इंस्टीटयूट में दाखिला लेकर भी इस फील्ड में करियर का बेहतर आगाज कर सकते हैं। संगीत में कोई भी कोर्स करने के लिए बारहवीं उत्तीर्ण होना बुनियादी आवश्यकता है। संगीत का प्रशिक्षण लेने के लिए सर्टिफिकेट कोर्स, बैचलर कोर्स, डिप्लोमा और पोस्टग्रेजुएट कोर्स किए जा सकते हैं। इन कोर्सेज के माध्यम से स्टूडेंट को संगीत के व्यावहारिक ज्ञान के साथ-साथ इसके सैद्धांतिक और एेतिहासिक पहलू के बारे में जानने का मौका भी मिलता है। इन दिनों इंडियन फिल्म एंड टेलीविज़न इंस्टिट्यूट में संगीत विभाग में नामांकन प्रारंभ है। इच्छुक उम्मीदवार 9639666333 अथवा 9639777333 पर संपर्क कर अन्य जानकारी प्राप्त कर सकते है। साथ ही संस्थान की वेबसाइट (www.ifti.in) से भी जानकारी ली जा सकती है।
कोर्सेज
सर्टिफिकेट कोर्स इन म्यूजिकसर्टिफिकेट कोर्स इन म्यूजिक एंड एप्रीसिएशन
डिप्लोमा कोर्स इन म्यूजिक
बैचलर ऑफ म्यूजिक
एमए कोर्स इन म्यूजिक
एमफिल इन म्यूजिक
पीएचडी इन म्यूजिक
रोजगार के अवसर
भारतीय बाजार जगत में जिस तरह से म्यूजिक उधोग अपनी जगह बनाई है इससे साफ जाहिर है कि भारत में संगीत के क्षेत्र में रोजगार की अपार संभावनाएं मौजूद हैं। जो लोग इस क्षेत्र में अपना कैरियर बनाना चाहते हैं, तो उनके लिए संगीत की पूरी जानकारी होना आवश्यक है। संगीत के कई प्रकार होते हैं, जैसे- क्लासिकल म्यूजिक, पॉप, फ्यूजियन आदि में भी कैरियर बना सकते हैं। इस क्षेत्र में आप म्यूजिक टीचर, परफॉर्मर, कंपोजर, लेखक, म्यूजिक पब्लिशर, म्यूजिक जर्नलिस्ट, डिस्क जॉकी, वीडियो जॉकी, म्यूजिक थेरेपिस्ट, गीतकार, म्यूजिकोलॉजिस्ट, कॉपीराइटर, रिकॉर्डिग टेक्नीशियन, इंस्ट्रूमेंट मैन्युफैक्चरिंग, आदि के रूप में भी बेहतर रोजगार प्राप्त कर सकते हैं।खास तौर पर कुछ प्रमुख क्षेत्र जहां रोजगार के अवसर मौजूद हैं- दूरदर्शन, निजी एफएम चैनल स्टेशन, म्यूजिक चैनल, सांस्कृतिक और जनसंपर्क के सरकारी विभाग, प्रॉडक्शन हाउस, प्रोमोशनल कम्पनीज, संगीत शोध संस्थान, म्यूजिक कंपनियां, म्यूजिक रिसर्च ऑर्गनाइजेशन, एजुकेशनल इंस्टीटयूट, गवर्नमेंट कल्चरल डिपार्टमेंट, म्यूजिक चैनल आदि के क्षेत्र में भी भरपूर अवसर हैं।
वेतनमान
भारतीय मनोरंजन उधोग जितनी तेजी से प्रगति कर रहा है, उसे देखते हुए संगीत के क्षेत्र में करियर की काफी अच्छी संभावनाएं बन रही हैं। सच तो यह है कि इन दिनों भारतीय संगीत उद्योग टॉप पर है, जिसकी गूंज अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी सुनी जा रही है। यदि आप एक बार स्थापित हो गए, तो बेहतर कमाई कर सकते हैं। इस क्षेत्र में ज्यादातर वेतनमान कलाकार की प्रसिद्धि पर निर्भर करता है। संगीत एक ऐसा क्षेत्र है, जहां वेतन का कोई तय पैमाना नहीं है। यदि आप अच्छे परफॉर्मर और म्यूजिशियन हैं, तो मिलिनेअर बनने में देर नहीं लगेगी। सिंगर, म्यूजिक कम्पोजर की आय उसकी योग्यता और प्रोजेक्ट पर भी निर्भर करती है। प्ले बैक सिंगर या एलबम के लिए आप कॉन्ट्रैक्ट बेसिस पर काम कर खूब कमाई कर सकते हैं।उम्मीद है, जिन जानकारियों को लेकर आईएफटीआई न्यूज़ आप लोगों के बीच आया है इससे संगीत जगत में करियर तलाश रहे उन तमाम इच्छुक उम्मीदवारों के लिए पथ प्रदर्शक साबित होगा।
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